रेलगाड़ी सीधी चलती है तो हम अगल-बगल क्यों हिलते हैं?
दरअसल ट्रेन बिल्कुल सीधे कभी नहीं चलती है बल्कि यह पर पर ऐम्पिलटूड और आवर्ती के लहर के रूप में चलती है और ऐसा लगता है की ट्रेन सीधे जा रही है लेकिन इसमें बहुत हल्का कंपन रहता है।
दरअसल ट्रेन बिल्कुल सीधे कभी नहीं चलती है बल्कि यह पर पर ऐम्पिलटूड और आवर्ती के लहर के रूप में चलती है और ऐसा लगता है की ट्रेन सीधे जा रही है लेकिन इसमें बहुत हल्का कंपन रहता है।
अंतरिक्ष में कचरे में सैटेलाइट, स्पेसक्राफ्ट, रॉकेट, बैट्री और पुराने टेक्नोलॉजी आदि आते हैं जो पृथ्वी से जाने के बाद वहां कचरा का रूप ले लेते हैं इसमें इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन का भी कचरा शामिल है और यह कचरा 2.9 टन से भी ज्यादा है
सिंधु नदी पाकिस्तान की राष्ट्रीय नदी है यह नदी तिब्बत के पास सिन-का-बाब नमक जलधारा को कहा जाता है जो कश्मीर से होते हुए पाकिस्तान पहुंचती है और वहां से अरब सागर में जाकर मिल जाती है।
दुनिया की सबसे महंगी चीज की अगर बात करें तो वह है इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन
जिसकी कीमत करीब 150 अरब डॉलर (12 लाख करोड रुपए) जिसे बनाने में पूरे 12 साल का समय लगा था इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन को अफ्रीका से करीब 265 मील ऊपर स्थित किया गया है।
प्राचीन काल में सिक्के तांबे के बनते थे और लोग नदियों से पानी पीते थे पानी भी तांबे के बर्तन में ही रखा जाता था। अमेरिकी पर्यावरण संरक्षण एजेंसी के मुताबिक पीतल के बर्तन में पानी रखने से 99.9% की कीटाणु नष्ट हो जाते हैं
असली वजह धरती का गुरुत्वाकर्षण है जब इंसान धरती पर रहता है तो यह गुरुत्वाकर्षण उसे खींचता है और अंतरिक्ष में तो गुरुत्वाकर्षण मौजूद नहीं है जिसकी वजह से रीड की हड्डी बढ़ जाती है
गुरुत्वाकर्षण का नियम भी फेल हो जाता है क्योंकि गुरुत्वाकर्षण के नियम के विपरीत है इसी वजह से यहां लोग दूर-दूर से देखने आते हैं वैज्ञानिकों का मानना है की इस जगह पर हवा बहुत तेज चलती है जो पानी को ऊपर धकेलती है।
यह नदी पूर्व दिशा से बहती हुई पश्चिम दिशा की ओर बढ़ती है और अंत में अरब सागर में गिरती है नर्मदा नदी के उल्टे बहने की वजह रिफ्ट वैली है मतलब बहाओ जिस दिशा में होता है उसकी ढलान उसके विपरीत दिशा में होती है।
वायु के प्रभाव से समुद्र का जल ऊपर नीचे होता रहता है जब हवा चलती है तो समुद्री सतह पर घर्षण होता है जो जल का जल को धक्का देता है हवा जितनी प्रचंड होती है लहरें उतनी बड़ी बनती है
चंबल नदी को पवित्र नदी का दर्जा नहीं दिया गया है ऐसा माना जाता है कि राजा रांतिदेव द्वारा बड़ी संख्या में मासूम पशुओं का बलिदान कर जानवरों के रक्त का परिणाम है